Tare Kyon Timtimate Hain – अँधेरे आसमान के बीच टिमटिमाते तारे को देखकर मन खुश हो जाता है। यह अद्भुत नजारा तब और भी अद्भुत हो जाता है, जब टिमटिमाते तारों के बीच एक पुच्छल तारा (उल्कापिंड) दिखाई देता है। ऐसे चमकते आसमान को देखकर ऐसा लगता है जैसे आप उसमें खो गए हों। इन अंधेरी रातों में टिमटिमाते तारों को देखना न केवल बच्चों को बल्कि सभी को पसंद होता है। लेकिन क्या आप जानते हैं कि तारे टिमटिमाते क्यों दिखाई देते हैं? आइए जानते हैं तारे टिमटिमाते क्यों दिखाई देते हैं और रात में तारे क्यों दिखाई देते हैं?
तारे क्यों टिमटिमाते हैं क्लास 10th (Tare Kyon Timtimate Hain)
तारे टिमटिमाते हुए दिखाई देते हैं। लेकिन वास्तव में ऐसा नहीं है, तारे टिमटिमाते नहीं हैं बल्कि हमें ऐसा दिखाई देता है। लेकिन ऐसा क्यों होता है, दरअसल इसके पीछे का कारण पृथ्वी का वायुमंडल है। हमारी पृथ्वी के चारों ओर घना वायुमंडल है जिसमें विभिन्न प्रकार की गैसें, धूल के कण, वाष्प के घने बादल आदि मौजूद हैं।
यह वायुमंडल पृथ्वी की सतह से 480 किलोमीटर ऊपर तक फैला हुआ है। सतह से 16 किलोमीटर की ऊंचाई तक हवा का घनत्व अधिक होता है, फिर धीरे-धीरे कम होता जाता है। वायुमंडल में अलग-अलग परतें पाई जाती हैं और इन सभी परतों का तापमान भी अलग-अलग होता है।
जब तारों का प्रकाश इस वायुमंडल में प्रवेश करता है तो उसे वायुमंडल में मौजूद अवरोध का सामना करना पड़ता है। जिसके कारण तारों के प्रकाश का मार्ग बदलता रहता है। परिणामस्वरूप उनकी रोशनी कभी हमारी आंखों से ओझल हो जाती है तो कभी दिखाई देती है। इसी कारण हमें तारे टिमटिमाते हुए दिखाई देते हैं।
चाँद और ग्रह क्यों नहीं टिमटिमाते?
अब सवाल यह उठता है कि जब वायुमंडल के कारण तारे टिमटिमाते हुए दिखाई देते हैं, तो चाँद और ग्रह क्यों नहीं टिमटिमाते। ऐसा इसलिए होता है क्योंकि तारे पृथ्वी से बहुत दूर स्थित होते हैं, जिसके कारण उनकी रोशनी बहुत कमज़ोर हो जाती है। इसलिए, वे वायुमंडल में आसानी से प्रभावित हो जाते हैं, जिसके कारण तारे टिमटिमाते हैं।
जबकि दूसरी ओर, चाँद और ग्रहों की पृथ्वी से दूरी तारों की तुलना में बहुत कम है। इसलिए उनसे आने वाली रोशनी बहुत तीव्र होती है। नतीजतन, यह वायुमंडल में मौजूद बाधाओं को आसानी से पार कर जाती है, और बिना रुके सीधे हमारी आँखों तक पहुँचती है। इसलिए चाँद और बाकी ग्रह टिमटिमाते नहीं हैं बल्कि साफ़ दिखाई देते हैं।
आसमान में तारे क्यों चलते हैं?
आपने देखा होगा कि जब आसमान में कुछ बादल होते हैं, तो तारे चलते हुए दिखाई देते हैं? लेकिन क्या तारे सच में चलते हैं? तारे आसमान में चलते हुए क्यों दिखाई देते हैं? इसका जवाब है नहीं, तारे बिल्कुल नहीं चलते क्योंकि तारे स्थिर होते हैं, लेकिन ऐसा क्यों लगता है कि तारे चलते हुए दिखाई देते हैं? तो ऐसा भ्रम के कारण होता है। दरअसल, बादल वैसे ही चलते हैं जैसे बस में बैठने पर पेड़-पौधे चलते हुए दिखाई देते हैं।
तारे रात में क्यों दिखाई देते हैं?
अक्सर आप देखते हैं कि तारे केवल रात में ही दिखाई देते हैं और सुबह होते ही सभी तारे धीरे-धीरे गायब हो जाते हैं। लेकिन ऐसा क्यों होता है, तारे केवल रात में ही क्यों दिखाई देते हैं? क्या तारे दिन में कहीं चले जाते हैं?
दरअसल तारे हमारे सूर्य से लाखों प्रकाश वर्ष की दूरी पर स्थित हैं या हम कह सकते हैं कि वे सूर्य के पीछे होते हैं, जिसके कारण तारों की बहुत कम रोशनी (प्रकाश) हमारी आँखों तक पहुँचती है, जबकि सूर्य के तारों के करीब होने के कारण पृथ्वी पर बहुत अधिक सूर्य की रोशनी (प्रकाश) पहुँचती है। यही कारण है कि दिन में तारे दिखाई नहीं देते हैं। और रात में, जब आकाश में सूर्य की रोशनी नहीं होती है, तो तारों की रोशनी दिखाई देती है। यही कारण है कि रात में तारे दिखाई देते हैं।
तारे क्यों टिमटिमाते हैं, जबकि ग्रह नहीं टिमटिमाते?
जैसे जब हम रात के अंधेरे में टॉर्च जलाते हैं, तो वह बहुत चमकीला दिखाई देता है। लेकिन जब हम उसी टॉर्च को दिन में बाहर धूप में जलाते हैं, तो वह बिल्कुल भी दिखाई नहीं देता। ऐसा ही तारों के साथ भी होता है। इसलिए तारे रात में दिखाई देते हैं, दिन में नहीं। जबकि असल में वे एक ही जगह पर होते हैं। और जैसे-जैसे रात बढ़ती है, तारे भी दिखाई देने लगते हैं।
FAQs
तारे किसके प्रकाश से चमकते हैं?
तारों का अपना प्रकाश होता है।
तारों की संख्या कितनी है?
ब्रह्मांड में लगभग 10 हज़ार करोड़ आकाशगंगाएँ हैं और हर एक आकाशगंगा में लगभग 20 हज़ार करोड़ तारे मौजूद हैं।
तारे छोटे क्यों दिखाई देते हैं?
क्योंकि तारे हमारी पृथ्वी से बहुत दूर स्थित हैं।